खुदा
I do not know if there is God or not but one thing I am sure that Mrs Khallas is very cross with God. Let me know if you can figure out why?
इतने करो धमाके कि
जाग जाये खुदा
सदियां ही बीत गयीं उसको आये इधर
इतनी करो तबाही कि
दौड़ा आये खुदा
दुःख से पिघलती नहीं
आहों पर नज़र करता नहीं
इतनी करो गुस्ताखी कि
चैन न पाये खुदा
जितनी दी है उसने मोहलत
उतनी ही करो तुम इबादत
इतने उलझाओ ताने बाने कि
जन्मों का हिसाब भूल जाये खुदा
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खुदा से थोड़ा बेतक्लुफ़ हो जाये ये दिल
तो कुछ और बेबाकियाँ कर जाये ये दिल
कतरा कतरा बहती जिंदगी को
दरिया ए बेसाहिल कर जाये ये दिल
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पत्थर के परमेश्वर
स्वर्ग नहीं है कहीं धरा पे
ढूढ़ो इसको अपने मन में
पत्थर के परमेश्वर बाहर
ईश्वर है तेरे ही मन में
दुनिया के इस मेले में
रिश्तों के झमेले में
राग रंग के रेले में
न देखो इसको वन उपवन में
ईश्वर है तेरे ही मन में
मंदिर मस्जिद खाली पड़े हैं
गुरूद्वारे सुनसान पड़े हैं
गिरजाघर वीरान खड़े हैं
इन्सान है किसी अजब उलझन में
पत्थर के परमेश्वर बाहर
ईश्वर है तेरे ही मन में
Poetry , Mrs Khallas, बेइमानी, यादें, रिश्ते, दर्द, माँ, सलाह, ईश्वर, जिन्दगी, उलझन